राजनैतिक पक्ष अध्यात्मिक नेतृत्व हेतु मार्गदर्शन नहीं लेते ! – शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस

सारे राजनैतिक पक्ष विकासके नामपर हिंदुओंके श्रद्धास्थान एवं आस्थाओंका भंजन करनेमें ही अपनेको धन्य मानते हैं तथा ऐसे विकासके नामपर ही चुनाव लडे जा रहे हैं । विकासके नामपर जनताकी विचारपद्धति ही विकृत बनायी जा रही है, ऐसे लोगोंका हिंदुत्वसे कुछ भी लेना-देना शेष नहीं रहता है । Read more »

कुंभमेला हिंदुओंकी श्रद्धाका केंद्र है, अत: उसे महत्त्व देना आवश्यक ! – शंकराचार्य

परंपरागत विविध स्थानोंपर आयोजित कुंभमेलोंका अनन्यसाधारण महत्त्व है । प्रयाग के कुंभमेलेमें कुल ३ कोटि भक्तोंने स्नान किया । कुंभमेला हिंदुओंकी श्रद्धाका केंद्र है । Read more »

हिंदू धर्ममें अराजकताका दमन करनेकी शक्ति है ! – शंकराचार्य निश्चलानंद सरस्वती

श्रीमद् जगद्गुरूरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वतीजी महाराजने प्रतिपादित किया कि जिस संस्कृतिने धर्म, अर्थ, काम तथा मोक्षका ज्ञान दिया, उस संस्कृतिके बिना कोई राज्य नहीं हो सकता । Read more »

बांगलादेश : सैकडों मंदिरोंपर आक्रमण, ७२ हिंदू महिलाओं पर बलात्कार तथा कई हिंदुओंका अपहरण

‘बांगलादेश माइनॉरिटी वाच,’ `बांगलादेश मानवाधिकार केंद्र’ तथा ‘जागतिक मानवाधिकार रक्षा’, इन संस्थाओंकी ओरसे बांगलादेश स्थित हिंदुओंपर होनेवाले अत्याचारोंकी जानकारी देने तथा उनपर उपाययोजना करने हेतु प्रशासनसे मांग करने हेतु २१ नवंबरको वार्ताकार परिषदका आयोजन किया गया था । Read more »

भारत विकास नहीं, अपितु विनाशकी दिशामें अग्रसर ! – श्रीमद् जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद

भाजपा एवं कांग्रेस ये दोनों पक्ष लोगोंको धोखाजनक विकासकी परिभाषापर आधारित प्रलोभन दिखा रहे हैं । जनता भी इस झूठे विकासकी परिभाषासे प्रभावित है । ये विकास देश एवं विश्वको विनाशकी दिशामें ले जा रहे हैं । Read more »

‘जेड्’ सुरक्षा किसके लिए : शंकराचार्य या राजनीतिक व्यक्ति और चलचित्र अभिनेता?

गोवा सरकारद्वारा ऐसा बताया गया, ‘गोवामें ‘आंचिम’का कार्यक्रम चल रहा है तथा इसके लिए अति महान राजनीतिक व्यक्ति आरहे हैं । उनकी सुरक्षाका प्रबंध करना आवश्यक है । इसलिए शंकराचार्यजीको ‘जेड्’ पद्धतिकी सुरक्षापूर्ति करना असंभव है’।’ इसका, ‘शंकराचार्यजीसे राजनीतिज्ञ अधिक बडे’, ऐसा समीकरण हुआ । Read more »

पुणे : शंकराचार्यजीके आगमनके निमित्त पत्रकार परिषदका आयोजन !

शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती महाराजजीके चरणस्पर्शसे पुण्यनगरी होगी पावन ! २७ नवंबर २०१३ को निद्रिस्त हिंदुओंको पुनर्जागृत करने हेतु गोवर्धनमठ, पुरी पीठके शंकराचार्य स्वामी श्री निश्चलानंद सरस्वतीजी महाराजकी विशाल धर्मसभा होगी । Read more »

जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी श्री निश्चलानंद सरस्वती महाराजकी गोवा यात्राके प्रथम दिनका घटनाक्

श्रीमद् जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वतीजी महाराजके स्वागतके लिए कोकण रेलके सहायक कार्यकारी व्यवस्थापक श्री. एस. के. बाला तथा उनकी पत्नी श्रीमती शिराब्दी बाला स्वामीजीके आनेके १ घंटा पूर्वसे उपस्थित थे । Read more »

शंकराचार्यजीका आगमन एवं वृत्तवाहिनियोंका हिंदू द्वेष !

शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वतीजीका महाराष्ट्रमें १९ नवंबरको आगमन हुआ । इस अवसरपर शंकराचार्यजीकी वार्ताकार परिषद आयोजित की गई थी; किंतु राजनीतिज्ञोंके हर कृत्यका लेखा-जोखा रखनेवाली वृत्तवाहिनियोंने आद्य शंकराचार्यजीद्वारा स्थापित पीठोंमेंसे एक पीठके शंकराचार्यजीका राज्यमें हो रहे आगमनका वृत्त देना उचित नहीं समझा । Read more »

आध्यात्मिक सामर्थ्यद्वारा दिशाहीन शासनतंत्र (प्रणाली)तथा व्यापारतंत्रके विरुद्ध क्रांति करन

हिंदू सामर्थ्यवान होनेके कारण ही विश्वभरमें हिंदुओंका दमन करने हेतु ईसाई तथा धर्मांध व्यूहरचना कर निरंतर प्रयास कर रहे हैं । दिशाहीन प्रशासनको हिंदूविरोधी कृत्य करनेका नशा चढ चुका है । अत: अब हिंदू अपना अध्यात्मिक सामर्थ्य जागृत कर दिशाहीन शासनतंत्र तथा व्यापारतंत्रके विरुद्ध क्रांति करने हेतु कटिबद्ध हों । – शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वतीजी महाराज Read more »

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