डार्क वेब पर सक्रिय था IIT गुवाहाटी से धराया ISIS का छात्र, कॉलेज में प्रवेश से पहले से इस्लामी विचारधारा का कर रहा था अध्ययन

तौसीफ अली फारूकी का भाई भी IIT कानपुर से पासआउट है और स्टार्टअप चलाता है

कई बार कहा जाता है कि जो पढ़े-लिखे होते हैं वो आतंक का विरोध करते हैं, लेकिन इस्लामी कट्टरपंथियों के मामले में शायद ये बात फिट नहीं बैठती है। हाल ही में IIT गुवाहाटी के छात्र तौसीफ अली फारूकी को गिरफ्तार किया गया, जो आतंकी संगठन ISIS से जुड़ने जा रहा था। फाइनल परीक्षा के १ महीने पहले वो धराया है। उसके बाद वो B.Tech ग्रेजुएट हो जाता। हालाँकि, उसका प्लान था खोरासन जाकर ISIS में शामिल होना। उसने ‘इस्लामी नेतृत्व’ के प्रति प्रतिबद्धता जताते हुए ईमेल भी लिख कर भेजा था।

असम STF के IG भी इस ईमेल को प्राप्त करने वालों में से एक थे। उक्त छात्र दिल्ली के ज़ाकिर नगर का रहने वाला है और बायोटेक्नोलॉजी ब्रांच में पढ़ता था। STF १० दिनों के लिए रिमांड में लेकर उससे पूछताछ कर रही है। उसके बारे में बताया गया है कि वो पढ़ने में अच्छा था, कॉलेज में उसके दोस्त नहीं थे और घर के आस-पड़ोस में उसकी छवि अच्छी थी। उसके अम्मी-अब्बू अलग-अलग रहते हैं। उसका बड़ा भाई IIT कानपुर से ग्रेजुएट है और अपना स्टार्टअप चलाता है।

पुलिस इसका पता लगा रही है कि अचानक से उसने ISIS में शामिल होने की घोषणा क्यों की, वो भी इस तरीके से कि पुलिस सीधा उसके पास पहुँच गई। संस्थान ने उसे औसत से ऊपर का छात्र बताया है। उसकी अम्मी दक्षिणी दिल्ली के बाटला हाउस में बुटीक चलाती है। पुलिस ने बताया है कि तौसीफ अली फारूकी अकेला रहना पसंद करता था और सिर्फ क्लास के लिए कमरे से बाहर निकलता था। पुलिस ने बताया है कि वो कई वर्षों से इस्लामी कट्टरपंथ से प्रेरित था।

वो लगातार इस्लामी विचारधारा का अध्ययन करता था और उससे जुड़ा रहता था, लेकिन पिछले ३-४ महीनों में ये प्रक्रिया तेज़ हो गई। वो डार्क वेब का इस्तेमाल कर रहा था। उसके कमरे से काला झंडा भी बरामद हुआ है। IGP पार्थ सारथि महंता और कुछ कॉलेजों को लिखे गए ईमेल में उसने ‘हिजरत’ करने का ऐलान किया था, यानी अपनी मातृभूमि को छोड़ कर IS-खोरासन वाले क्षेत्र में जाना। उसने लिखा था कि वो भारत व भारतीय संविधान से खुद को पूरी तरह अलग करता है।

उसने ये भी लिखा था कि वो धरती पर जहाँ भी काफिर लोग हैं, उन सबसे खुद को पूरी तरह अलग करता है। IIT गुवाहाटी परिसर से २० किलोमीटर दूर हाजो से उसे पकड़ा गया। UAPA के तहत मामला दर्ज किया गया है। उसके कमरे से कुछ साहित्य भी मिले हैं। LinkedIn पर भी उसने ISIS के प्रति शपथ लेते हुए लिखा था। उसने मेल में लिखा था, “अल्लाह के सामने मैं पश्चाताप करना चाहता हूँ।” साथ ही उसने कुरान से कुछ उद्धरण भी दिए थे।

स्त्रोत : ऑप इंडिया


24 मार्च

ISIS में शामिल होने जा रहा था आईआईटी गुवाहाटी का छात्र, असम STF ने रास्ते में धरा

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ईमेल भेज कर ISIS में भर्ती होने का एलान करने वाला IIT छात्र असम पुलिस की हिरासत में

असम पुलिस ने कथित तौर पर ISIS जॉइन करने निकले IIT छात्र को हिरासत में लिया है। उसका नाम तौसीफ अली फारूकी है। वह मूल रूप से दिल्ली के जामिया नगर का निवासी है जो IIT गुवाहाटी में बायोटेक्नॉलजी के चौथे वर्ष में पढ़ाई कर रहा था।

पुलिस को तौसीफ की सूचना एक ईमेल के जरिए मिली थी। पुलिस ने छानबीन की तो उसके हॉस्टल के कमरे से एक काले रंग का झंडा भी मिला। अब असम पुलिस की STF यूनिट मामले की जाँच कर रही है। यह कार्रवाई शनिवार (२३ मार्च २०२४) को की गई है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, तौसीफ अली ने अपने लिंकेडइन पर खुला पत्र लिखकर अपने ISIS में जाने की सूचना दी थी। वहीं पुलिस को इस बारे में एक ईमेल के जरिए से सूचना मिली थी। माना जा रहा है कि इसे खुद छात्र ने पुलिस के पास भेजा था।

ईमेल में उसने दावा किया था कि वह प्रतिबंधित आतंकी संगठन ISIS के प्रति निष्ठा की शपथ ले चुका है। साथ ही उसने लिखा कि वह ISIS में भर्ती होने के लिए निकल चुका है। इस ईमेल की फ़ौरन जाँच करवाई गई। जाँच के दौरान पता चला कि ईमेल भेजने वाला छात्र शनिवार से ही फोन बंद करके लापता है।

इसके बाद पुलिस ने छात्र की तलाश शुरू कर दी। आखिरकार शनिवार की शाम उसकी लोकेशन गुवाहाटी से लगभग ३० किलोमीटर दूर हाजो इलाके में मिली। पुलिस ने दबिश दे कर छात्र को हिरासत में ले लिया। उसे पकड़ कर गुवाहाटी स्थित स्पेशल टास्क फ़ोर्स (STF) मुख्यालय लाया गया है। यहाँ संदिग्ध से पूछताछ की जा रही है।

अपने पत्र में ISIS ज्वाइन करने निकले तौसीफ ने कहा था कि वह अपने आपको भारतीय संरचना से दूर करता है जिसमें उसके हिसाब से तथाकथित भारत का संविधान और अन्य संस्थान शामिल हैं। इसके बाद उसने अपने पत्र में इस्लामिक स्टेट ज्वाइन करने की जानकारी दी। उसने ये भी कहा कि वो ये यात्रा पैदल करने वाला है। अगर कोई ‘काफिर’ रोकना चाहता है तो उसे उसका सामना करना होगा। अपने पत्र में उसने उन रास्तों की पूरी जानकारी दी जहाँ से वो जाने वाला था। आखिर में उसने हिंदुओं को काफिर कहते हुए अल्लाह के आगे सिर झुकाने को भी पत्र में लिखा है। इसमें कहा है कि काफिर ये मानें इस दुनिया में कोई भगवान नहीं है सिर्फ अल्लाह हैं।

संदिग्ध छात्र गुवाहाटी के एक हॉस्टल में रह रहा था। पुलिस की एक टीम ने उसके कमरे की तलाशी ली। तलाशी के दौरान ही उसके कमरे से काले रंग का झंडा भी बरामद किया गया। पुलिस अधिकारी कल्याण कुमार पाठक ने बताया कि अभी कुछ भी कहना जल्दबाजी होगी। मामले की जाँच की जा रही है।

बताते चलें कि अभी महज ४ दिन पहले असम पुलिस ने ISIS के भारत प्रमुख हारिश फारुखी को उसके साथी अनुराग सिंह सहित गिरफ्तार किया था। इन दोनों की गिरफ्तारी असम के धुबरी जिले से हुई थी। मूल रूप से पानीपत का रहने वाला अनुराग सिंह रेलवे का कर्मचारी है जो फिलहाल दिल्ली में तैनात है। हारिश फारुखी के सम्पर्क में आ कर अनुराग सिंह ने इस्लाम कबूल कर लिया था। मतांतरण के बाद उसका नया नाम रेहान है। पुलिस यह भी पता लगाने में जुटी है कि क्या हिरासत में लिए गए छात्र का हारिश फारुखी और रेहान से कोई वास्ता है।

स्त्रोत : ऑप इंडिया

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