राष्ट्रीय हिन्दू आंदोलन के अंतर्गत फोंडा (गोवा) में समस्त हिन्दुत्वनिष्ठ संगठनों की निदर्शनें !

बकरी ईद से पूर्व गोवा मांस प्रकल्प पूरी तरह से कार्यान्वित करने की घोषणा करनेवाले राज्य के पशुसंवर्धनमंत्री माविन गुदिन्हो का निषेध !

विविध मागों को लेकर आंदोलन करते हुए राष्ट्र एवं धर्मप्रेमी

फोंडा (गोवा) : ११ अगस्त को सायं समय यहां के पुराने बसस्थानक पर विविध मांगों को लेकर हिन्दुत्वनिष्ठ संगठनों की ओर से राष्ट्रीय हिन्दू आंदोलन किया गया। इस अवसर पर हिन्दू जनजागृति समिति दक्षिण गोवा के समन्वयक श्री.सत्यविजय नाईक ने कहा कि सरकार मुस्लिम बंधुओं को ‘कुरान’ के नियम बताकर ‘इको फ्रेंडली बकरी ईद’ मनाने के संदर्भ में उनका प्रबोधन करे, साथ ही सतर्क रह कर गोहत्या न हो, इसलिए सर्वेक्षण हेतु अनेक स्थानों पर पुलिस पथक सिद्ध रखे एवं ‘बकरी ईद’ के उपलक्ष्य में होनेवाली गोंवंशियों की हत्याओं को रोकें !

आंदोलन में शिवसेना के भूतपूर्व गोवा राज्य प्रमुख श्री. रमेश नाईक, राष्ट्रीय हिन्दू संघ के महसचिव श्री. मधुसुदन देसाई एवं रणरागिणी शाखा की श्रीमती राजश्री गडेकर आदि मान्यवर उपस्थित थे।

श्री सत्यविजय नाईक ने आगे कहा,

१. २२ अगस्त को आनेवाली ‘बकरी ईद’ को कुर्बानी देने हेतु अडचन न हो, इसलिए राज्य के पशुसंवर्धनमंत्री माविन गुदिन्हो ने ईद से पूर्व गोवा मांस प्रकल्प पूर्ण रुप से कार्यान्वित करने की घोषणा की है। गोवंश की हत्याओं के संदर्भ में हिन्दुओं की धर्मभावनाएं आहत हो रही हैं। इसलिए समस्त हिन्दुत्वनिष्ठों की ओर से पशुसंवर्धनमंत्री गुदिन्हो का निषेध !

२. किसी भी पराधीन राष्ट्र को स्वतंत्रता मिलते ही राष्ट्र की पराधीनता के संकेत उखाडकर फेंकना राष्ट्र के हित में होता है; परंतु कुछ गिनेचुने अपवाद छोड कर किसी भी शासनकर्ता ने इसकी ओर कभी गंभीरता से नही देखा ! अब मुंबई का मानबिंदू रही कमान को ‘गेट वे ऑफ इंडिया’ यह विदेशी आक्रमकों ने दिया नाम परिवर्तित कर उसका नामकरण ‘भारत द्वार’ करना चाहिए ! (स्वतंत्रता के ७० वर्ष उपरांत भी ऐसी मांग क्यों करनी पडती है ? क्या शासनकर्ताओं में राष्ट्राभिमान नहीं है ? – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात)

३. असम के साथ पूरे देश में से केवल बांग्लादेशी ही नही, अपितु पाकिस्तानी एवं रोहिंग्या मुसलमानों को भी देश से निकाल बाहर कर देना चाहिए !

प्रधानमंत्री ने भारत में होनेवाली घुसपैठ का कारण बताना चाहिए ! – श्री. मधुसुदन देसाई, महासचिव, राष्ट्रीय हिन्दू संघ

इस अवसर पर राष्ट्रीय हिन्दू संघ के महासचिव श्री मधुसुदन देसाई ने कहा कि, देश के प्रधानमंत्री पूरे विश्व के अनेक देशों में जाकर आते हैं। क्या वहां भी घुसपैठियों की समस्या है ? यदि वहां यह समस्या नहीं है, तो भारत में किस कारण से है, यह उन्होंने बताना चाहिए !

सरकार ने चलचित्र ‘लवरात्रि’ का नाम परिवर्तित करने की पहल करनी चाहिए ! – श्रीमती राजश्री गडेकर, रणरागिणी

इस अवसर पर श्रीमती राजश्री गडेकर ने कहा कि, इस वर्ष १० अक्तूबर को नवरात्रि उत्सव आरंभ हो रहा है। इसके ५ दिन पूर्व अर्थात ५ अक्तूबर को सलमान खानद्वारा निर्मित लवरात्रि चलचित्र प्रदर्शित हो रहा है। ‘लवरात्रि’ चलचित्र के ‘ट्रेलर’ में एक सहअभिनेता प्रमुख अभिनेता को उसे (अभिनेत्री) पटाने के लिए ‘तेरे पास ९ दिन एवं ९ रात्रि ही हैं’ ऐसा कहता है ! हिन्दुओं के धार्मिक उत्सवों का उपयोग प्रेमप्रकरण दिखाने के लिए करना यह समाज को अयोग्य संदेश देने समान है ! इस चलचित्र का ’लवचित्र’ नाम हिन्दुओं की नवरात्रि उत्सव का अवमान करनेवाला है। चलचित्र प्रदर्शित होने पर उसमें प्रदर्शित कथा एवं हिन्दुओं के त्योहार से संबंधित कुछ अनुचित प्रसंग दिखाए गए हैं तो उसकी निश्चिती कर योग्य-अयोग्य देखें ! पर उससे पहले सरकार ने चलचित्र परिनिरीक्षण मंडल को इस चलचित्र का नाम परिवर्तित करने के लिए त्वरित सूचित करना चाहिए !

आंदोलन के आरंभ में शंखनाद किया गया। इस आंदोलन में शिवयोद्धा, गोमंतक हिन्दू प्रतिष्ठान, गोमंतक मंदिर एवं धार्मिक महासंघ, मराठी राजभाषा समिति एवं सनातन संस्था आदि संगठनों के कार्यकर्ता एवं धर्म एवं राष्ट्रप्रेमी नागरिक उपस्थित थे। श्री शैलेश बेहरे ने सूत्रसंचालन किया जबकि श्री.जयेश थळी ने अंत में प्रस्ताव रखे।

नियंत्रण में लिए बम पत्रकारों को दिखाए बिना पुलिस ने केवल जानकारी दी है ! इसलिए वैभव राउत पर की गई कार्रवाई संदेहजनक ! – श्री. रमेश नाईक, शिवसेना के भूतपूर्व गोवा राज्यप्रमुख

नालासोपारा से गोरक्षक श्री. वैभव राउत को आतंकविरोधी पथक ने नियंत्रण में लेने पर उनके पास बम बनाने का साहित्य है, ऐसा बताया परंतु पथक ने नियंत्रण में लिए बम एवं सामग्री प्रत्यक्ष में न दिखा कर केवल थैलियां दिखाई हैं ! यदि थैलियों में रहा साहित्य दिखाया होता, तो संदेह को कोई स्थान ही नही रहता था। इसलिए आतंकवाद पथक की कार्रवाई संदेहजनक प्रतीत होती है !

क्षणिका – ‘फेसबुक लाइव’ के माध्यम से आंदोलन का विषय २५ सहस्त्र लोगों तक पहुंचा !

स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात

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