एदलापुरममें (आंध्रप्रदेश) हिंदू धर्मजागृति सभामें एक सहस्त्र धर्माभिमानियोंकी उपस्थिति

चैत्र शुक्ल १३ / १४ , कलियुग वर्ष ५११५

धर्मांधोंके कारण हिंदुओंका कार्यक्रम संपन्न होनेमें असंभव ऐसे नगर एदलापुरममें(आंध्रप्रदेश) हिंदू धर्मजागृति सभामें एक सहस्त्र धर्माभिमानियोंकी उपस्थिति

दार्इं ओरसे श्री. चेतन जर्नादन, श्री. ईश्वर सिंह ठाकुर, दीपप्रज्वलन करते हुए प्रा. श्री. घनश्याम व्यास तथा श्रीमती विनुता शेट्टी दार्इं ओरसे श्री. चेतन जर्नादन, श्री. ईश्वर सिंह ठाकुर, दीपप्रज्वलन करते हुए प्रा. श्री. घनश्याम व्यास तथा श्रीमती विनुता शेट्टी

एदुलापुरम (आदिलाबाद) – महाराष्ट्र राज्यकी सीमाके निकट होनेवाले आंध्रप्रदेशके एदुलापुरम नामक जनपदमें हिंदू जनजागृति समितिकी पहली हिंदू धर्मजागृति सभा १४ अप्रैलको सेंट्रल गार्डेन्स (टी.एन्.जी.ओ.होम्स)में संपन्न हुई । इस सभाके लिए कर्नाटकके श्रीराम सेनाके राज्य कार्यवाहक श्री. ईश्वर सिंह ठाकुर, इंदौरके (निजामाबाद) प्रा. श्री.घनश्याम व्यास, हिंदू जनजागृति समितिके आंध्रप्रदेश राज्य समन्वयक श्री. चेतन जनार्दन, हिंदू जनजागृति समितिकी रणरागिनी शाखाकी श्रीमती विनुता शेट्टीद्वारा सभामें उपस्थित धर्माभिमानियोंका मार्गदर्शन किया गया । यह धर्मसभा तेलुगु भाषामें हुई । विगत कुछ वर्षोंसे एदुलापुरम जनपदमें हिंदुओंका एक भी कार्यक्रम नहीं हुआ था । यहांके स्थानीय धर्मांध संगठनोंके कारण हिंदुओंके किसी भी कार्यक्रममें सफलता प्राप्त होना असंभव था । जब यहां हिंदुओंका कार्यक्रम आयोजित होता है, तो उस समय हिंदू अत्यंत अल्प संख्यामें उपस्थित रहते थे; किंतु हिंदू धर्मजागृति सभाके लिए १ सहस्र हिंदू उपस्थित थे ।

हिंदू धर्मजागृति सभाके लिए उपस्थित हिंदू

हमें रामराज्य चाहिए ! – प्रा.श्री.घनश्याम व्यास

प्रा. श्री. घनश्याम व्यासद्वारा मार्गदर्शनमें बताया गया कि ‘कांग्रेस पक्षद्वारा हिंदू राष्ट्रके दो हिस्से कर उसका एक भाग पाकको भेंट स्वरूप दिया गया । वर्तमानमें जिनका शासन है, वह काले कांग्रेसका गुलामी राज्य है । कांग्रेसका यह काला शासन हमें नहीं चाहिए । हमें रामराज्य ही चाहिए ।’

हिंदू व्यक्तिके शरीरमें छत्रपति शिवाजी महाराजका रक्त बह रहा है ! – श्री. ईश्वर सिंह ठाकुर

कर्नाटक स्थित श्रीराम सेनाके राज्य कार्यवाहक श्री. ईश्वर सिंह ठाकुरद्वारा बताया गया, ‘इस देशकी स्वतंत्रताके लिए हिंदुओंने अपना रक्त बहाया है । जब मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन दलके नेता ओवैसीद्वारा हिंदुओंको नष्ट करनेकी भाषा  बोली गई, उस समय कर्नाटकके बिदर जनपदमें हुई एक हिंदू धर्मसभामें मैंने ओवैसीको चेतावनी दी थी कि ‘आप हिंदुओंको नष्ट करनेकी भाषा बोल रहे हैं; किंतु आप बिदरकी भूमिमें पैर रखकर तो देखिए । ओवैसीको पता नहीं है कि हिंदू व्यक्तिके शरीरमें छत्रपति शिवाजी महाराजका रक्त बह रहा है ।’ यदि मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन नामक दलका देशविरोधी इतिहासकी ओर गौर करें, तो यह बात ध्यानमें आती है कि इस दलके संबंध आतंकवादियोंके साथ हैं । अब हिंदुओंके इकट्ठा होनेका समय आया है । इस कार्यके लिए हिंदू जनजागृति समिति कार्यप्रवण है । अब हमें ही समय निकालनेकी आवश्यकता है ।

धर्मांधोंद्वारा सभामें झगडा होनेकी झूठी शिकायत !

अधिकांश धर्मांधों सभाके स्थानपर आनेका प्रयास कर रहे थे; किंतु समितिके कार्यकर्ताओंने उन्हें अंदर आनेसे  रोक  दिया । (कितने हिंदू धर्मांधोंकी सभामें जाकर वहांकी जानकारी प्राप्त करनेका प्रयास करते हैं ? – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात) एक धर्मांध, मैं संवाददाता हूं, यह बताकर अंदर आनेका प्रयास किया । (झूठ बोलनेवाले धर्मांध ! – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात) उसे तिलक लगाकर अंदर जानेके लिए बताया गया, तो उसने तिलक लगानेके लिए मना किया । (धर्मांधोंका धर्मप्रेम ! श्री. नरेंद्र मोदीद्वारा धर्मांधोंकी टोपी परिधान नहीं की गई, इसलिए उनपर धर्मांधताका आरोप करनेवाले तथाकथित धर्मनिरपेक्षतावादी क्या यह धर्मांधता समझेंगे ? – संपादक, दैनिक सनातन प्रभात) उस व्यक्तिद्वारा ही पुलिस थानेमें जाकर झूठी शिकायत प्रविष्ट की गई कि ‘सभामें झगडा हो रहा है । आसंदियोंकी तोडफोड हो रही हैं ।’ (हिंदुद्वेषी धर्मांध ! क्या हिंदुओंके लिए कभी धर्मांधोंके विरोधमें सत्य परिवाद करना  संभव है ?-संपादक, दैनिक सनातन प्रभात ) तत्पश्चात दो पुलिस अधिकारी सभाके स्थानपर आए । (धर्मांधोंकी झूठी शिकायतकी ओर त्वरित ध्यान देकर कृत्यशील होनेवाले पुलिस हिंदुओंके परिवादकी ओर क्या कभी इस प्रकार ध्यान देंगे ?-संपादक, दैनिक सनातन प्रभात)

प्रतिक्रियाएं

१. कार्यक्रमके लिए आए हुए एक पुलिस अधिकारीद्वारा बताया गया कि ‘आजतक यहां हिंदुओंका कार्यक्रम कभी नहीं हुआ । हिंदू धर्मजागृति सभाका यह कार्यक्रम यशस्वी हुआ, अतः उसके समान यशस्वी कार्यक्रम यहां आयोजित किए जाएंगे, तो इसके पश्चात एदुलापुरम्में निश्चित ही परिवर्तन होगा ।’

२. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघके एक प्रमुख व्यक्तिद्वारा दूसरे दिन प्रतिक्रिया व्यक्त करते समय बताया गया, ‘७५ वर्षोंसे मैं एदुलापुरममें रहता हूं; किंतु इस प्रकारका कार्यक्रम आजतक नहीं हुआ था । यह धर्मसभा अत्यंत परिणामकारी हुई ।

स्त्रोत : दैनिक सनातन प्रभात

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